जिला प्रशासन ने किया था सम्मानित
रीतेश साहू
नगर नौगांव और हरपालपुर का इससे बड़ा दुर्भाग्य क्या होगा कि क्षेत्र के राजनीतिक दलों के नेता व वाह वाही लूटने वाले सामाजिक कार्यकर्ता इस अभियान को फोटोशूट अभियान समझ रहे हैं और इससे भी अधिक शर्मसार करने वाली बात यह है कि सत्य अहिंसा के हथियार से ब्रिटिश हुकूमत को झुकाने वाले राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की प्रतिमा की स्थापना को लेकर कोई भी ध्यान नहीं दे रहा है
नौगांव हरपालपुर स्वच्छता के संदर्भ में भारत की निरंतर बिगड़ती छवि को सुधारने के उद्देश्य प्रधानमंत्री ने गांधी जयंती के अवसर पर इस अभियान की शुरुआत की थी लेकिन उनकी मंशा के ठीक विपरीत नौगांव हरपालपुर के नेता व सामाजिक कार्यकर्ता इस अभियान को फोटोशूट अभियान समझ रहे हैं तो वही प्रशासनिक अधिकारियों के लिए यह कमाई का जरिया बन गया है हाल ही में नौगांव व हरपालपुर में गांधी जयंती के अवसर पर ऐसी कई तस्वीरें सामने आई है जो चीख चीख कर मानो कह रही हो कि साल में एक बार याद करने वालों वाहवाही तो लूटते रहोगे कम से कम गांधी जी की प्रतिमा की स्थापना का भी ध्यान रखो इस अभियान को लेकर पिछले दिनों गांधी जयंती के अवसर पर नौगांव एवं हरपालपुर में जगह जगह बापू को याद कर कार्यक्रम आयोजित किए जिसको लेकर कार्यक्रमों का मुआयना करने जब हमारे रिपोटर गए तो नौगांव हो या हरपालपुर प्रधानमंत्री का स्वच्छ भारत अभियान कहीं-कहीं फोटोशूट कार्ड जरिया बनता नजर आया नौगांव में यह अभियान ऐसे हो गया है झाड़ू पकड़ कर फोटो खिंचवाओ और पेपर में लगवाओ प्रचार खुद व खुद हो जाएगा सफाई का क्या है वो तो बस नाम करना है कि अभियान का हिस्सा बने फेसबुक पर डाल कर कहते है कि क्या मस्त फोटो है न मजा आ गया होगा आपको भी देखकर झाड़ू पकड़ कर फोटो खिंचवाने का क्रेज भी इतना कि दो दो लोगों ने एक ही झाड़ू पकड़ कर फोटो खिंचवाये वाह क्या बात है लोगों को सफाई करना हो तो करें अपनी तो फोटो खिंच जाए और मोदी जी से शाबासी मिल जाए तो मजा आ जाये हैरत की बात है कि नगर सहित हरपालपुर में गांधी जयंती के अवसर पर याद किया गया नेताओं से लेकर शिक्षण व सामाजिक संस्थाओं के लोग बापू को लेकर बड़ी-बड़ी बातें कर रहे थे लेकिन नौगांव तो ठीक हरपालपुर में भी महात्मा गांधी की मूर्ति की स्थापना की ओर किसी का ध्यान नहीं रहा स्थापना के लिए नेताओं से लेकर अफसर व समाज सेवा ढिढोरा पीटने वाले भी इस ओर कोई कदम नहीं उठा रहे बात की जाए सफाई की तो हरपालपुर और नौगांव में सिर्फ उस जगह सफाई होती है जो लोगों क्यों दिखाई देती है अगर सफाई व्यवस्था की हकीकत देखनी है तो वार्डों के अंदर स्थित गलियों व भीड़ वाले इलाकों पर नजर डालें तो आप भी हैरान हो जाएंगे क्योंकि सफाई व्यवस्था पटरी से उतरती जा रही है नालिया ओवरफ्लो हो रही हैं जिससे लोगों को परेशानी हो रही नालियॉ प्लास्टिक व कचरे से पटी होने पर गंदा पानी सड़कों पर बह रहा है जिस से दुर्गंध फैल रही है दुकानदारों राहगीरों को सर्वाधिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है वही नगर वासियों कहना है कि 2014 से यह अभियान चल रहा है लेकिन आज तक नगर में सर्वजनिक पेशाब घरों का निर्माण नहीं किया जा रहा है बल्कि ब्रिटिश शासन द्वारा बनाए गए पेशाबघर भी गायब हो गए सबसे ज्यादा परेशानी नगर के मुख्य बाजारों व भीड़ वाले चौराहे पर है लेकिन किसी ने भी दुकानदारों की इस महत्वी समस्या का निदान नहीं किया गया जबकि स्वच्छता के नाम पर लाखों रुपए सरकार दे रही है वही शासकीय विभागों में भी गंदगी फैली हुई है कृषि विभाग तहसील कार्यालय टीवी एवं सिविल अस्पताल पशु अस्पताल नगर पालिका सहित स्कूलों के शौचालयों को देखकर आप हैरान हो जाएंगे एक-दो मिनट भी आप खड़े नहीं हो सकते हैं गुटके के दाग दीवारों पर देखे जा सकते है जिसको लेकर नौगांव हो या हरपालपुर सफाई की मॉनिटरिंग नहीं की जा रही ना ही कभी मनमर्जी से कहीं भी कचरा फेंकने वालों पर कार्यवाही की जाती है सूत्रों से यह भी पता चला है कि नगर पालिका में लंबे इस अभियान के विज्ञापन विभाग में गंभीर अनियमितता की जा रही है वही प्रमुख स्थलों पर रखी डस्टबिन भी समय पर खाली नहीं होते और जब दुर्गंध फैलने लगती है तब खाली कराया जाता है इस अभियान की हकीकत हरपालपुर स्थित घने मार्केट में नजर आ जाती है इतना ही नहीं यहां के बस स्टैंड में भी गंदगी को लेकर आए दिन चर्चा में रहता है नगर पालिका सीएमओ की अक्षमता का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है कि एनजीटी के सख्त रुख के बावजूद प्रतिबंधित पॉलीथिन का उपयोग हो रहा है वही सबसे अधिक हैरान करने वाली बात तो यह है कि नौगांव व हरपालपुर नगर परिषद के द्वारा मोबाइल ऐप का प्रचार प्रसार नहीं कर रही जबकि प्रचार के नाम पर लाखों रुपए खर्च किए जा रहे विभाग से जुड़े लोगों की मानें तो इस ऐप का प्रचार करने से नगर पालिका प्रशासन की मुसीबतें बढ़ सकती हैं और अनियमितताएं भी सामने आ जायेंगी इस ऐप को लेकर क्षेत्र के सोशल वर्कर अजीत पाठक ने बताया कि अगर किसी के आसपास कचरा जमा है और उसकी शिकायत करने पर नगर पालिका प्रशासन काम नहीं करता है तो आप मोबाइल ऐप पर फोटो अपलोड कर मौके की जानकारी दिल्ली स्वच्छता मंत्रालय को कर सकते हैं व सफाई ना होने से रैगिंग भी घट जाती है व नगरपालिका प्रशासन के जिम्मेदार अधिकारियों पर कार्यवाही का प्रावधान है है जिसके चलते इस ऐप का प्रचार-प्रसार नहीं किया जा रहा है अब आप यह सोच रहे होंगे कि फिर आधार पर नौगांव नगरपालिका को सम्मानित किया गया जबकि नगर की सफाई व्यवस्था पटरी से उतरी हुई है दरअसल इस अभियान के जरिए उच्च प्रशासन व सत्ता से जुड़े नेताओं को संदेश देने का है की जिला प्रशासन इस अभियान को गंभीरता से संचालित कर पीएम की मंशा नुसार काम कर रहे हैं और सम्मानित करना जिला प्रशासन की रणनीति का एक हिस्सा है तो वही इस बात का भी संकेत देने की कोशिश है कि आने वाले नगर पालिका चुनाव के दौरान पूरी ईमानदारी के साथ सहयोग करेंगे बस स्थानतरण ना हो ऐसा भी नहीं है कि प्रशासन हक़ीक़त ना जानता हो हालांकि यह नौगांव व हरपालपुर के लिए दुर्भाग्यपूर्ण साबित हो रहा है और इन परेशानियों के बावजूद आम लोग विरोध नहीं करते जिससे प्रशासन के हौसले बढ़ते जा रहे हैं वही यह अभियान कमाई का जरिया बन गया है नगर के लिए दुखद है